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Super 30 |
'सुपर 30' मूवी रिव्यू ! Super 30 movie Reviews
कलाकाररितिक रोशन,मृणाल ठाकुर,पंकज त्रिपाठी,नंदीश सिंह
निर्देशकविकास बहल
मूवी टाइपबायॉग्रफी,ड्रामा,इमोशन
अवधि2 घंटा 45 मिनट
दोस्तों आज हम बात करने जारहे है ह्रितिक रोशन की नई आयी फिल्म सुपर ३० की , बेहद ही खास किस्म की ये फिल्म है ! डायरेक्टर ने अपने कुशल दिमाग को इस्तेमाल करके कलाकारों से उनका १०० प्रतिशत नीलवाने का प्रयत्न किया है,
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Movie Review |
निर्देशक विकास बहल की फिल्म का फर्स्ट हाफ काफी सधा हुआ है, मगर सेकंड हाफ में कहानी थोड़ी ड्रामेटिक होकर लम्बी जाती है। उन्होंने आनंद कुमार से जुड़े विवादों को अपनी कहानी से दूर ही रखा है, अतः उनसे जुड़े आरोपों का फिल्म में कोई जवाब नहीं मिलता, मगर इसमें कोई शक नहीं कि आनंद कुमार के जीवन के संघर्षों, परिवार के साथ उनके जज्बाती रिश्तों और गरीब बच्चों को रास्ते से उठाकर आईआईटियंस बनाने के जज्बे को वे अपने निर्देशन के जरिए बखूबी दिखाया है !
सुपर 30' बच्चों की भूख, बेबसी और उनके अविष्कारों को विकास ने कहानी में इमोशनल ढंग से फिलमाया है 'राजा का बेटा राजा नहीं रहेगा', 'आपत्ति से अविष्कार का जन्म होता है' जैसे संवाद तालियां पीटने पर मजबूर कर देते हैं। क्लाइमैक्स और असरकारक हो सकता था।
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रितिक रोशन आनंद कुमार के किरदार के सत्व को समझकर उसमें पूरी तरह से घुलमिल गए हैं। हालांकि, शुरुआत के कुछ मिनट जब हम इस इस ग्रीक गॉड कहलाने वाले सुपर स्टार को टैन और डी-ग्लैम अवतार में देसी भाषा बोलते देखते हैं, तो थोड़ा अलग लगता है, मगर फिर रितिक अपने समर्थ अभिनय के बल पर किरदार और कहानी के साथ तारतम्यता साध लेते हैं। वे हमें एक ऐसे सफर पर ले जाते हैं, जो आंसुओं के साथ उम्मीद भी देती है।
मृणाल ने छोटी-सी भूमिका में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई है। नंदीश सिंह प्रणव कुमार की भूमिका में एकदम फिट बैठे हैं। शिक्षा मंत्री के रूप में पंकज त्रिपाठी ने खूब मनोरंजन किया है। पिता के रूप में वीरेन्द्र सक्सेना का अभिनय दिल को दिल को छू लेने वाला है । आदित्य श्रीवास्तव, अमित साद और विजय वर्मा ने गजब का काम किया है ।
अजय-अतुल के संगीत में उदित नारायण और श्रेया घोषाल ने अपने सुर दे कर फिल्म के संगीत में चार चाँद लगाए है, 'जुगरफिया' गाना बहुत जमा है। आज कल ये गाना युबा पीढ़ी को खूब जांच रहा है
क्यों देखें:अंडरडॉग्ज के संघर्ष और उनकी जीत का जश्न मनानेवाली इस कहानी को जरूर देखें।
मृणाल ने छोटी-सी भूमिका में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई है। नंदीश सिंह प्रणव कुमार की भूमिका में एकदम फिट बैठे हैं। शिक्षा मंत्री के रूप में पंकज त्रिपाठी ने खूब मनोरंजन किया है। पिता के रूप में वीरेन्द्र सक्सेना का अभिनय दिल को दिल को छू लेने वाला है । आदित्य श्रीवास्तव, अमित साद और विजय वर्मा ने गजब का काम किया है ।
अजय-अतुल के संगीत में उदित नारायण और श्रेया घोषाल ने अपने सुर दे कर फिल्म के संगीत में चार चाँद लगाए है, 'जुगरफिया' गाना बहुत जमा है। आज कल ये गाना युबा पीढ़ी को खूब जांच रहा है
क्यों देखें:अंडरडॉग्ज के संघर्ष और उनकी जीत का जश्न मनानेवाली इस कहानी को जरूर देखें।
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